पटना
आय से अधिक संपत्ति के मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने मगध विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति डॉ. राजेन्द्र प्रसाद के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग की चार्जशीट दाखिल की है। यह चार्जशीट 15 अप्रैल को पटना स्थित पीएमएलए (PMLA) विशेष अदालत में पेश की गई, जिसे कोर्ट ने संज्ञान में ले लिया है। ED की जांच में सामने आया है कि डॉ. राजेन्द्र प्रसाद ने अपने कार्यकाल के दौरान, वर्ष 2019 से 2021 के बीच, कुलपति पद पर रहते हुए अपनी वैध आय से करीब 2 करोड़ 66 लाख 99 हजार रुपए अधिक की संपत्ति अर्जित की। इस अवैध कमाई को वैध दिखाने के लिए ट्रस्ट और अन्य माध्यमों का सहारा लिया गया।
चार्जशीट में डॉ. प्रसाद के अलावा उनके बेटे डॉ. अशोक कुमार, भाई अवधेश प्रसाद और प्यारी देवी मेमोरियल वेलफेयर ट्रस्ट को भी आरोपी बनाया गया है। ED ने इस कार्रवाई को प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट, 2002 के तहत अंजाम दिया है। इस मामले की नींव पटना स्थित विशेष सतर्कता इकाई द्वारा दर्ज की गई एफआईआर पर आधारित है, जिसके आधार पर ED ने विस्तृत मनी लॉन्ड्रिंग जांच शुरू की थी।