द फॉलोअप डेस्क, रांची:
प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने कहा कि झारखंड की इंडिया गठबंधनन सरकार अपने ही विधायकों और मंत्रियों से डरती है। नई हेमंत पार्ट-3 सरकार में ये डर कुछ ज्यादा ही बढ़ गया है। उन्होंने कहा कि मौजूदा सरकार को अपने ही सहयोगी दल, विधायक, मंत्री और नेता-पदाधिकारी से डर लगता है। बाबूलाल मरांडी ने कहा कि इस डर का ही परिणाम है कि हेमंत सोरेन को जल्दीबाजी में अकेले मुख्यमंत्री पद की शपथ लेनी पड़ी। कैबिनेट का कोई भी मंत्री साथ नहीं था। उन्होंने कहा कि भय इतना है कि कैबिनेट विस्तार के लिए विश्वास मत के बाद तक का इंतजार करा दिया।
चंपाई सोरेन से डर गये थे हेमंत सोरेन!
बाबूलाल मरांडी ने कहा कि हेमंत सोरेन उनसे ही डर गये जिनको उन्होंने दबाव में सही लेकिन, मुख्यमंत्री बनाया था। उनको जैसे ही मौका मिला, उनको जबर्दस्ती हटा दिया। उनको डर था कि कहीं चंपाई सोरेन उनकी राह का कांटा न बन जायें। उन्होंने कहा कि इस सरकार का पूरा कार्यकाल भागदौड़ में बीत गया। ये कभी विधायकों को लेकर हैदराबाद जाते हैं तो कभी रायपुर। कभी अपने ही विधायकों पर मुकदमा कराते हैं। बाबूलाल ने कहा कि राज्य की जनता को जल्द ही ऐसी सरकार से निजात मिलेगी। जनता ऐसा ही चाहती है।
बीजेपी नेताओं ने परिवारवाद का आरोप लगाया
इससे पहले शिवराज सिंह चौहान, अमर कुमार बाउरी और बाबूलाल मरांडी सहित तमाम बीजेपी नेताओं ने कहा कि हेमंत सोरेन को 2 महीने इंतजार कर लेना चाहिए था लेकिन, सत्ता पाने की हड़बड़ी में उन्होंने एक वरीय नेता को अपमानजनक तरीके से हटा दिया। ये परिवारवाद की पराकाष्ठा है।