द फॉलोअप डेस्क
झारखंड में थैलेसीमिया, सिकल सेल एनीमिया और ब्लड कैंसर जैसे गंभीर रक्त संबंधी रोगों से पीड़ित हजारों मरीजों के लिए राहत की खबर है। रांची के सदर अस्पताल में जल्द ही बोन मैरो ट्रांसप्लांट (BMT) की सुविधा शुरू होने जा रही है। इस सुविधा के शुरू होते ही मरीजों को इलाज के लिए दिल्ली, मुंबई या चेन्नई जैसे महंगे शहरों में नहीं जाना पड़ेगा।
16 से 20 लाख खर्च से मिलेगा छुटकारा
सदर अस्पताल के उपाधीक्षक डॉ. बिमलेश सिंह ने बताया कि बाहर BMT कराने पर मरीज को लगभग 16 से 20 लाख रुपये खर्च करने पड़ते हैं, जो आम लोगों के लिए संभव नहीं होता। लेकिन जब यही सुविधा रांची में शुरू होगी, तो इलाज की लागत काफी कम हो जाएगी। रांची के सिविल सर्जन डॉ. प्रभात कुमार ने बताया कि बोन मैरो ट्रांसप्लांट के लिए देश के कई विशेषज्ञ डॉक्टर तैयार हैं जो रांची आकर ऑपरेशन करेंगे, जबकि मरीज की देखभाल स्थानीय स्टाफ करेगा। इसके लिए अस्पताल में विशेष वार्ड तैयार किया जाएगा और नर्सों को विशेष प्रशिक्षण दिया जाएगा।
थैलेसीमिया और ब्लड कैंसर के इलाज में कारगर
डॉ. बिमलेश सिंह के अनुसार, थैलेसीमिया, सिकल सेल एनीमिया, ल्यूकेमिया, लिम्फोमा और मल्टिपल मायलोमा जैसी बीमारियों के इलाज में BMT बेहद प्रभावी है। खासकर 5 साल से कम उम्र के थैलेसीमिक बच्चों में ट्रांसप्लांट से 50-60% तक ठीक होने की संभावना होती है। फिलहाल झारखंड ही नहीं, बल्कि आसपास के राज्यों में भी सरकारी अस्पतालों में BMT की सुविधा नहीं है। ऐसे में रांची सदर अस्पताल में यह सुविधा शुरू होना न केवल राज्य के मरीजों के लिए, बल्कि पूरे क्षेत्र के लिए एक बड़ी उपलब्धि होगी।