रांची:
मनरेगा आयुक्त राजेश्वरी बी ने कहा है कि ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार के साथ संपत्ति सृजन की दोहरी मंशा से राज्य में शुरू की गई मनरेगा की योजनाओं के दायरे में और विस्तार किया गया है। अब मनरेगा को रोजगार सृजन के साथ कुपोषण जैसी समस्या से निपटने का कारगर हथियार बनाया गया है। वह आज कृषि, पशुपालन एवं सहकारिता विभाग, जेएसएलपीएस एवं मनरेगा को जोड़ कर संचालित दीदी बाड़ी योजना से संबंधित बैठक में बोल रही थीं।
दीदी बाड़ी योजना के तहत पहल जारी
मनरेगा आयुक्त ने कहा कि मनरेगा अंतर्गत दीदी बाड़ी योजना के माध्यम से इस पर पहल की जा रही है। बैठक में पपीता, नींबू, आंवला और कटहल मोरिंगा की खेती ग्रामीण परिवारों के साथ करने पर चर्चा की गई। मनरेगा और कृषि, पशुपालन एवं सहकारिता विभाग के साथ राज्य में पपीता, नींबू, आंवला और कटहल मोरिंगा की खेती को बढ़ावा देने के लिए विभिन्न पहलुओं पर चर्चा एवं संबंधित विषय पर विस्तार से बात हुई।
उक्त बैठक में उपनिदेशक उद्यान निदेशालय राजेंद्र किशोर, अपर निदेशक कृषि निदेशालय बीo एनo त्रिपाठी व अन्य शामिल थे।