रांचीः
छठी जेपीएससी को रद्द कर दिया गया है। कोर्ट ने आदेश दिया है कि आयोग नयी मेरिट लिस्ट जारी करे। 326 अभ्यर्थियों की नियुक्ति संकट में है। नयी मेरिट लिस्ट तैयार करने के आदेश ने जेपीएससी के साथ-साथ राज्य सरकार की परेशानी बढ़ा दी है। सभी पदों पर नियुक्ति हो गयी है। 326 अधिकारी राज्य के विभिन्न जिलों में अपनी सेवा दे रहे हैं। ऐसे में जेपीएससी के लिए संशोधित मेरिट लिस्ट जारी बनाना आसान नहीं होगा।
पेचीदा हो सकता है मामला
कहा जा रहा है कि मेरिट लिस्ट जारी बनाने में पेंच हो सकता है, क्योंकि इसमें कुछ वैसे अभ्यर्थी भी आ सकते हैं जो मुख्य परीक्षा में सफल नहीं होने के कारण साक्षात्कार में शामिल नहीं हो पाए थे। उदाहरण के लिए कोई अभ्यर्थी सभी विषयों में पास होगा लेकिन उसका कट आफ मार्क्स से एक अंक कम रहा होगा तो उसका चयन साक्षात्कार के लिए नहीं हुआ होगा। वहीं, कुछ अभ्यर्थी ऐसे भी होंगे जो एक या दो विषय में फेल होंगे, लेकिन अंक कट आफ अंक से ऊपर है तो उनका चयन हो गया होगा। अगर फिर से मेरिट लिस्ट जारी होता है तो हो सकता है कि कुछ अभ्यर्थियों का साक्षात्कार लेना पड़ सकता है, जिसके लिए कोर्ट से अनुमति भी लेनी होगी ।
गोपनियता पर सवाल
सबसे बड़ी समस्या यह भी है कि आयोग ने अंतिम परिणाम जारी करने के बाद सभी अभ्यर्थियों के प्राप्तांक भी जारी कर दिए में हैं और यह सार्वजनिक हो चुका है। ऐसे में साक्षात्कार लेने पर गोपनीयता का मामला उठ सकता है। इस तरह यह मामला और भी पेचीदा हो गया है। यह भी कहा जा रहा है कि संशोधित मेधा सूची जारी होती है तो वैसे चयनित अभ्यर्थी सर्वोच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटा सकते हैं। जो में मेधा सूची से बाहर हो जाएंगे।