द फॉलोअप डेस्क
दिल्ली पुलिस ने हाल ही में 400 स्कूलों को बम से उड़ाने की धमकी देने वाले एक नाबालिग को पकड़ा है। प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि यह बच्चा न केवल अकेले इस साजिश का हिस्सा था, बल्कि 250 स्कूलों को भेजे गए धमकी भरे ईमेल में भी उसकी भूमिका पाई गई है।
पुलिस का कहना है कि नाबालिग जिस तरह के तकनीकी शब्दों और तरीकों का इस्तेमाल कर रहा था, उससे शक गहरा रहा है कि वह किसी शातिर व्यक्ति के निर्देश पर काम कर रहा हो सकता है।
एनजीओ का कनेक्शन?
इस मामले में एक और चौंकाने वाला पहलू यह है कि पकड़े गए बच्चे का परिवार एक ऐसे एनजीओ से जुड़ा पाया गया है, जिसने अफजल गुरु की फांसी का विरोध किया था। पुलिस इस बात की जांच कर रही है कि क्या इस एनजीओ की भूमिका कहीं इस साजिश में शामिल तो नहीं है।
कानून व्यवस्था को खराब करने की साजिश?
जांचकर्ताओं के अनुसार, धमकी भरे ईमेल्स के पीछे सिर्फ मज़ाक या शरारत नहीं, बल्कि कानून व्यवस्था को बिगाड़ने की साजिश हो सकती है। अब पुलिस इस एंगल पर भी ध्यान दे रही है कि क्या नाबालिग को किसी बड़े मकसद के तहत इस्तेमाल किया जा रहा था।
पुलिस फिलहाल यह पता लगाने में जुटी है कि क्या यह मामला किसी बड़ी साजिश का हिस्सा है। इसके अलावा, एनजीओ की भूमिका की भी गहराई से जांच की जा रही है। विशेषज्ञों का मानना है कि इस तरह की घटनाओं को हल्के में नहीं लिया जा सकता और दोषियों को कानून के कठघरे में लाना जरूरी है।