द फॉलोअप डेस्क
उत्तर प्रदेश की योगी सरकार एक बार फिर युवाओं को मुफ्त स्मार्टफोन देने की योजना लेकर आई है। इसके तहत स्वामी विवेकानन्द युवा सशक्तिकरण योजना के अंतर्गत 25 लाख स्मार्टफोन खरीदे जाएंगे। इस योजना पर कुल 2493 करोड़ रुपये खर्च होंगे, और एक स्मार्टफोन की कीमत 9972 रुपये निर्धारित की गई है। बुधवार को यूपी कैबिनेट ने इस योजना के अंतर्गत अंतिम बिड डाक्यूमेंट को मंजूरी दे दी, और यूपी डेस्को लखनऊ को नोडल एजेंसी के रूप में नामित किया गया है।
इस योजना के तहत, राज्य के युवाओं को मुफ्त स्मार्टफोन प्रदान किए जाएंगे, जो विभिन्न शैक्षिक पाठ्यक्रमों, सरकारी योजनाओं और स्वावलंबन कार्यक्रमों में उनके लिए सहायक होंगे। उत्तर प्रदेश के औद्योगिक विकास मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी ने बताया कि स्नातक, स्नातकोत्तर, डिप्लोमा कौशल, विकास आदि शैक्षिक एवं प्रशिक्षण कार्यक्रमों के तहत युवाओं को इन स्मार्टफोनों का वितरण किया जाएगा, ताकि वे अपने अध्ययन को सफलतापूर्वक पूरा कर सकें और रोजगार के अवसरों का लाभ उठा सकें।
इसके पहले, वित्तीय वर्ष 2021-22 में इस योजना के तहत 22.80 लाख टैबलेट और 37.25 लाख स्मार्टफोन वितरित किए गए थे। अब तक नवंबर 2024 तक 48.60 लाख डिवाइस वितरित किए जा चुके हैं। इस योजना के लिए 4000 करोड़ रुपये का बजट निर्धारित किया गया है, जिसमें से 941 करोड़ रुपये का व्यय स्वीकृत किया जा चुका है।
एयरोस्पेस और रक्षा क्षेत्र में यूपी सरकार का बड़ा निवेश प्रयास
इसके साथ ही योगी सरकार ने एयरोस्पेस और रक्षा क्षेत्र में 50 हजार करोड़ रुपये के नए निवेश लाने और एक लाख लोगों को रोजगार देने का लक्ष्य रखा है। इस योजना के तहत, प्रयागराज में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में नई उत्तर प्रदेश एयरोस्पेस और रक्षा इकाई एवं रोजगार प्रोत्साहन नीति को मंजूरी दी गई।
इस नीति में पश्चिमी और मध्य यूपी में निवेश पर 25 प्रतिशत की कैपिटल सब्सिडी, जबकि बुंदेलखंड और पूर्वांचल में निवेश पर 35 प्रतिशत तक कैपिटल सब्सिडी प्रदान की जाएगी। इसके अलावा, इस नीति में स्वदेशी क्षमताओं के उपयोग, नवाचार और अनुसंधान पर जोर दिया गया है।
यूपी रक्षा औद्योगिक गलियारे में स्टार्टअप और एमएसएमई के कौशल और क्षमता विकास के लिए सामान्य सुविधा केंद्र बनाने पर भी ध्यान केंद्रित किया गया है। महिला उद्यमियों को इस योजना में 2 प्रतिशत अतिरिक्त सब्सिडी भी दी जाएगी।
यह कदम राज्य में रक्षा क्षेत्र को सशक्त बनाने और उच्च प्रौद्योगिकी युक्त मैन्युफैक्चरिंग वातावरण तैयार करने के लिए उठाया गया है।