logo

क्या सचमुच पिछली सरकार की तुलना में इस सरकार कम घटी दुष्कर्म की घटनाएं? पढ़िए! फॉलोअप पड़ताल

3556news.jpg
द फॉलोअप टीम, रांची 
झारखंड में दुष्कर्म का आंकड़ा एक बड़ा राजनीतिक मुद्दा बन गया है। विपक्षी दल बीजेपी के हर नेता हेमंत सरकार के एक साल कार्यकाल में घटी दुष्कर्म की घटनाओं को लेकर सरकार को कटघरे में खड़े कर रही है। राज्य में इस वर्ष घटी 1555 घटनाओं को हर प्रेस कॉन्फ्रेंस में मुद्दा बनाया जा रहा है। आज हम आपको आंकड़ों के जरिये पिछली सरकार और इस सरकार के एक साल में घटी दुष्कर्म की घटनाओं से तुलना करके बताएँगे कि आखिर सच क्या है।

पिछले साल की तूलना में कम हुआ अपराध
राज्य में इस वर्ष जनवरी से नवंबर तक दुष्कर्म की 1555 घटनाएँ हुईं। हालांकि पिछले साल के आकड़े देखें तो इस वर्ष 2020 में दुष्कर्म की घटनाओं में कमी आई है। वर्ष 2019 में जनवरी से नवंबर तक दुष्कर्म की 1693 घटनाएँ हुई थीं।

झारखंड पुलिस बनाएगी नई रणनीति
झारखंड में दुष्कर्म की घटनाओं को रोकने के लिए डीजीपी एमवी राव के निर्देश पर पुलिस ने पीड़िताओं और आरोपियों के सामाजिक-आर्थिक और शैक्षणिक पहलुओं का डाटाबेस तैयार कर रही है। घटनाओं का विवरण मिलने के बाद डीजीपी इस संबंध में अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक करेंगे। सामाजिक-आर्थिक पृष्ठभूमि के अध्ययन के बाद दुष्कर्म की घटनाओं को रोकने के लिए नई रणनीति बनाने का काम होगा।

अपनों से ज्यादा डर 
झारखण्ड में बच्चियों को दूसरों से ज्यादा अपनों से डर है, जी हां ये बिकुल सही है, अगर झारखंड पुलिस का डाटा पर गौर करें तो यही बात सामने आ रही है। राज्य में 88 प्रतिशत दुष्कर्म की घटना में पीड़ित की पहचान वाले ही आरोपी हैं।  

988 मामले निष्पादित
झारखंड में जनवरी से लेकर नवंबर तक दुष्कर्म के 1555 मामले दर्ज किए गयें हैं। पुलिस ने कार्रवाई करते हुए घटना में शामिल 1000 आरोपियों को गिरफ्तार किया है। इस दौरान 988 केस निष्पादित किए गए हैं। 896 मामले में चार्जशीट दायर है। 82 मामले में पुलिस ने अंतिम रिपोर्ट कोर्ट में सौंप दी है।

ये भी पढ़ें......

648 पीड़िता की उम्र 18 वर्ष से अधिक
राज्य में इस वर्ष जितनी दुष्कर्म की घटनाएं हुई हैं, उनमें से 648 पीड़ित की उम्र 18 वर्ष से अधिक जबकि 432  घटनाओं में पीडिता की उम्र 18 वर्ष से कम है। दुष्कर्म पीड़ित में 267 एससी और 412 एसटी कैटेगरी की हैं। वहीं 584 अन्य कैटेगरी की हैं।

ज्यादातर घटनाओं में आरोपी पीड़िता के परिवार से हैं 
इस वर्ष दुष्कर्म की जितनी घटनाएं हुईं उनमें 102 के आरोपी पीड़िता के परिवार के सदस्य थे। 45 घटनाओं में शामिल आरोपी अनजान थे। सबसे अधिक दुष्कर्म की घटनाएं दिन के 2 बजे से रात के 10 बजे तक हुई हैं। इस दौरान 197 दुष्कर्म की घटनाएँ हुई है। सुबह के 6 बजे से दिन के 2 बजे तक 170 और रात के 10 बजे से सुबह के 6 बजे तक 46 दुष्कर्म की घटनाएँ हुई हैं। 1555 घटनाओं में से 565 पीड़िता के घर पर हुईं। 137 घटना आरोपी के घर पर हुई। 95 घटनाएं मवेशी चराने, लकड़ी चुनने, खेती करने या सब्जी बेचने जाने के दौरान हुईं। 14 घटनाएँ जहां महिला काम करती थी, वहां पर हुई हैं।