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लोहरदगा कारा से हार्डकोर नक्सलियों को किया जाएगा हजारीबाग खुले जेल में शिफ्ट

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द फॉलोअप टीम, लोहरदगा:
लोहरदगा मंडल कारा में बंद चार नक्सलियों प्रकाश उरांव उर्फ दीपक उरांव उर्फ संदीप (टोटो थाना, भण्डरा, लोहरदगा), बालक खेरवार उर्फ भगत (होन्हे, थाना पेशरार, लोहरदगा), मदन यादव उर्फ मदन गोप (रेहलदाग थाना, बिशुनपुर, गुमला) और रामजीत नगेशिया उर्फ रामू उर्फ बनेश्वर नगेशिया उर्फ बनिया (रोरद, पेशरार, लोहरदगा) को  हजारीबाग खुले जेल में शिफ्ट किया जाएगा। इसका निर्णय लोहरदगा डीसी दिलीप कुमार टोप्पो की अध्यक्षता में हुई बैठक में लिया गया। बैठक में पुलिस अधीक्षक प्रियंका मीणा, उप विकास आयुक्त अखौरी शशांक सिन्हा, पुलिस उपाधीक्षक परमेश्वर प्रसाद, सामान्य शाखा प्रभारी नारायण राम, जिला उद्योग महाप्रबंधक नीलम केरकेट्टा,कारा अधीक्षक देवेंद्र कुमार समेत आदि उपस्थित थे।

चारों नक्सलियों ने किया था आत्मसमर्पण
चारों नक्सलियों ने आत्मसमर्पण नीति के तहत मार्च 2018 से अप्रैल 2020 के दौरान आत्मसमर्पण किया था। इनके हजारीबाग स्थित केंद्रीय कारा खुला जेल स्थानांतरित कराने के लिए पुलिस अधीक्षक लोहरदगा से प्राप्त प्रस्ताव और उन्हें दिये जाने वाले लाभ को लेकर बैठक आयोजित हुई थी। आत्मसमर्पित नक्सलियों के विरूद्ध अंकित कांडों की समीक्षा करने के लिए तीन सदस्य समिति गठित करने का निदेश सामान्य शाखा प्रभारी को दिया गया। इस समिति में जिला के लोक अभियोजक, पुलिस उपाधीक्षक और एक कार्यपालक दण्डाधिकारी होंगे।

सुविधा और नौकरी देने के भी निर्णय हुए
बैठक में सभी चारों नक्सलियों को आत्मसमर्पण नीति के तहत दी जाने वाले राशि का भी पूर्ण भुगतान किये जाने के लिए विशेष शाखा, झारखण्ड, रांची से समन्वय बना कर तत्काल भुगतान कराये जाने, बीमा के लिए बीमा निगम के द्वारा प्रीमियम राशि तय कराने, उनके आश्रितों की विस्तृत जानकारी प्राप्त किये जाने, आश्रित को उसकी योग्यता अनुसार पुलिस/होमगार्ड/सहायक पुलिस पदाधिकारी के रूप में नियुक्त किये जाने, आश्रित को उसकी इच्छानुसार बिजनेस करने के लिए राशि उपलब्ध कराने समेत अन्य निर्णय लिये गये।