द फॉलोअप टीम, रांची:
तमाम इफ-बट के बाद झारखंड में पंचायत चुनाव को छह माह तक के लिए टाल दिया गया है। जबकि पंचायत प्रतिनिधियों का कार्यकाल पूरा हो चुका है। कोरोना के कारण चुनाव नहीं कराने का निर्णय सरकार ने लिया है। लेकिन गांव-जवार के विकास कार्य प्रभावित न हों, इसके लिए सरकार ने प्रशासनिक कमेटी बनाने का फैसला लिया है। इस समिति के अध्येक्ष पंचायत के निवर्तमान मुखिया ही होंगे। इसी तरह जिला परिषद के संचालन के लिए गठित समिति के अध्यक्ष जिला परिषद के अध्यक्ष होंगे। समितियों का गठन संबंधित जिला के डीसी करेंगे। इस संबंध में ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज) ने गुरुवार को अधिसूचना जारी की है।
ग्राम पंचायत के अंतर्गत सभी पारंपरिक प्रधान कार्यकारी समिति अध्यक्ष का पदनाम मुखिया की जगह प्रधान कार्यकारी समिति ग्राम पंचायत रहेगा। प्रधान कार्यकारी समिति के वो सभी कार्य निष्पादित करेगा जो एक एक निर्वाचित मुखिया करता है।
इसे इस प्रकार समझिये
ग्राम पंचायत की कार्यकारी समिति
अध्यक्षः विघटित पंचायत के मुखिया, सदस्यः विघटित पंचायत के सभी निर्वाचित वार्ड सदस्य
सदस्यः प्रखंड पंचायत राज पदाधिकारी
सदस्यः प्रखंड समन्वयक (झारखंड पंचायत राज स्वशासन परिषद)
सदस्यः अंचल निरीक्षक
सदस्यः प्रखंड विकास पदाधिकारी द्वारा नामित ग्राम पंचायत क्षेत्र का निवासी और राज्य, केंद्र, सेना, रेल और सार्वजनिक उपक्रम से (ग्रेड थ्री से नीचे नहीं) से रिटायर्ड कोई एक व्यक्ति।
-अनुसूचित क्षेत्रों में ग्राम पंचायत के विघटन के बाद ग्राम पंचायत के कार्यों के संचालन के लिए जो समिति गठित की जाएगी उसमें ये होंगे शामिल:
अध्यक्षः विघटित पंचायत के मुखिया, सदस्यः विघटित पंचायत के सभी निर्वाचित वार्ड सदस्य
सदस्यः प्रखंड पंचायती राज पदाधिकारी
सदस्यः प्रखंड समन्वयक (झारखंड पंचायत राज स्वशासन परिषद)
सदस्यः अंचल निरीक्षक
पंचायत समिति कार्यकारी समिति
अध्यक्षः विघटित पंचायत समिति के प्रमुख
सदस्यः एसडीएम
सदस्यः सीओ
जिला परिषद कार्यकारी समिति
अध्यक्षः विघटित जिला परिषद के अध्यक्ष
सदस्यः कार्यपालक पदादिकारी जिला परिषद
सदस्यः डीआरडीए निदेशक