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शिक्षक अभ्यर्थियों के विरोध प्रदर्शन का अनूठा अंदाज़, झारखण्ड मंत्रालय के बाहर सड़क किनारे किया छठ 

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द फॉलोअप टीम, रांची: 
लोक आस्था का महापर्व छठ आज सिर्फ देश ही नहीं बल्कि दुनिया भर में मनाया जा रहा है। आपने सैकड़ों हजारों छठ की तस्वीर और वीडियो देखा होगा लेकिन आपने शायद ही कहीं किसी सरकार के मंत्रालय के बाहर किसी को छठ मनाते हुए देखा होगा। रांची के धुर्वा स्थित प्रोजेक्ट भवन के बाहर पिछले 22 दिनों से धरना पर बैठे शिक्षक अभ्यर्थियों ने धरनास्थल पर ही पूरे विधि विधान से छठ पूजा किया।   

 

 

कौन शिक्षक अभ्यर्थी बैठे हैं धरना पर 

प्रोजेक्ट भवन के बाहर धरने पर बैठे 11 गैर-अनुसूचित जिलों में TGT के 25 प्रतिशत सफल हाई स्कूल टीचर अभ्यर्थी धरना पर बैठे हैं। धरनास्थल पर बैठे अभ्यर्थियों ने बताया कि 2016 में नियुक्ति का विज्ञापन निकला था. 2017 में परीक्षा हुई। उसके बाद परिणाम भी आ गया। कई अभ्यर्थियों का चयन हो गया। कई जिलों के अभ्यर्थी नौकरी भी कर रहे हैं लेकिन हम 11 गैर आरक्षित जिलों के अभ्यर्थियों का चयन नहीं किया जा रहा है।

 

सरकार की सद्बुद्धि के लिए कर रहे छठ 
अभ्यर्थियों की मांग है कि उनकी नियुक्ति जल्द से जल्द की जाये। पिछले 22 दिनों में जब सरकार तक इनकी बात नहीं पहुंची तो सरकार के द्वार पर ही छठ करने लगे हैं. अभ्यर्थियों का कहना है कि आस्था का महापर्व छठ व्रत ही अब सहारा है. अभ्यर्थी छठी मैया से गुहार लगा रहे हैं कि वे राज्य सरकार को सद्बुद्धि दें कि वे हाई स्कूल के नियुक्ति प्रक्रिया को जल्द पूरी कर उन्हें रोजगार दे।

 

रिजल्ट प्रकाशन में कोई गड़बड़ी नहीं 
सफल अभ्यर्थियों का कहना है कि रिजल्ट के प्रकाशन में किसी भी प्रकार की कोई भी वैधानिक अड़चन नहीं है. हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट ने भी इस संदर्भ में स्पष्ट किया है कि हाई स्कूल 11 गैर-अनुसूचित जिलों के 25 प्रतिशत और 6 अनिवार्य विषयों के रिजल्ट प्रकाशन संबंधी कोई भी रुकावट नहीं है, इस लिए बची हुई प्रक्रिया को पूरा किया जाए. कोर्ट के आदेश के बाद भी 11 जिला हाई स्कूल के सफल अभ्यर्थी पिछले 3 वर्षों से मानसिक उत्पीड़न का शिकार हो रहे है। 11 गैर-अनुसूचित जिला के सफल अभ्यर्थी सरकार से ये मांग कर रहे हैं कि अविलंब रिजल्ट प्रकाशन की प्रक्रिया को पूरा किया जाए।