logo

1984 के दंगा मामले में कैसे बरी हो गये पूर्व कांग्रेस सांसद सज्जन कुमार, CBI फिर से करना चाहती है जांच

SAJJAN.jpg

नई दिल्ली  

दिल्ली हाईकोर्ट ने केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को 1984 के सिख विरोधी दंगों के सिलसिले में पूर्व कांग्रेस सांसद सज्जन कुमार को बरी किए जाने के फैसले को चुनौती देने का अधिकार दिया है। दिल्ली हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति प्रतिभा एम सिंह और न्यायमूर्ति अमित शर्मा ने ‘अपील करने की अनुमति’ दी और मामले की आगे की सुनवाई दिसंबर में निर्धारित की है।

यह निर्णय विशेष न्यायाधीश गीतांजलि गोयल द्वारा 20 सितंबर को सज्जन कुमार को बरी किए जाने के बाद आया है, जिन्होंने “संदेह का लाभ” को खारिज करने का कारण बताया था। ट्रायल कोर्ट के फैसले पर विवाद हुआ, क्योंकि इसने दो अन्य आरोपियों, वेद प्रकाश पियाल और ब्रह्मानंद गुप्ता को भी तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की उनके सिख अंगरक्षकों द्वारा हत्या के बाद भड़के दंगों के दौरान हत्या और दंगा करने से संबंधित आरोपों से मुक्त कर दिया।


हाईकोर्ट के हालिया आदेश में पीड़िता शीला कौर द्वारा बरी किए जाने के आदेश को चुनौती देने वाली अपील को स्वीकार करना भी शामिल है। न्यायालय ने रजिस्ट्री को 1984 के दंगों के आरोपियों से जुड़ी किसी भी अतिरिक्त अपील पर रिपोर्ट संकलित करने का निर्देश दिया है।

सज्जन कुमार दंगों से उपजे कई मामलों में मुख्य व्यक्ति रहे हैं, जिसके परिणामस्वरूप सिख समुदाय के खिलाफ काफी जान-माल की हानि हुई और व्यापक हिंसा हुई। इस मामले में बरी होने के बावजूद, कुमार तिहाड़ जेल में बंद हैं, जहां उन्हें उसी दंगों से संबंधित एक अलग सजा में आजीवन कारावास की सजा काटनी पड़ रही है।

Tags - MP Sajjan Kumar acquitted riots case Jharkhand News News Jharkhand Jharkhand latest

Trending Now