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सही समय पर आ जाते डॉक्टर तो नहीं होती कोलवाशरी श्रमिक की मौत

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द फॉलोअप टीम, बोकारो: 
कोलवाशरी प्लांट दुग्दा में एक कर्मचारी की मौत हो गयी। 37 वर्षीय राजू राजभर की मौत का जिम्मेदार साथी कर्मचारी प्लांट प्रबंधन को मान रहे हैं। साथी कर्मचारियों का आरोप है कि प्रबंधन की लापरवाही से ही राजू की मौत हो गई है। कर्मचारी महिपाल पासवान ने बताया कि राजू ने 12 बजे उन्हें बताया कि उसके पेट व सीने में बहुत तेज दर्द है। उसने इसकी सूचना प्रबंधन के एनसी सामंता को दी और डॉक्टर भी बुलाने का आग्रह किया। राजू दो घंटे तक कराहता रहा, लेकिन प्रबंधन ने कोई डॉक्टर नहीं बुलाया। समय जब काफी बीत गया तब डॉक्टर को बुलाया गया लेकिन जब तक डॉक्टर आए तब तक उसकी मौत हो गयी। 

मुंह से झाग निकल रहा था 
राजू के साथी श्रमिक उसकी मौत पर सवाल उठा रहें हैं। उनका कहना है कि जब राजू के शव को बाहर निकाला गया तो उसके मुंह और नाक से झाग निकल रहा था। जबकि उसे सिर्फ पेट और सीने में दर्द था तो फिर झाग क्यों आ रहा था। शुक्रवार की सुबह बड़ी संख्या में श्रमिक संगठनों के नेता प्लांट पहुंचकर मृतक के आश्रित के लिए तत्काल नौकरी की मांग कर रहे हैं। मजदूरों का कहना है कि अगर समय से इलाज हो जाता तो उसकी जान बच जाती। 

15 लाख सहयोग राशि की मांग
जनता मजदूर संघ कर्मी की मौत का जिम्मेवार वाशरी प्रबंधन को ठहरा रही है। उनका कहना है कि सही समय पर इलाज हो जाता तो राजू को बचाया जा सकता था। उन्होंने मृतक के आश्रित को फैटल एक्सीडेंट के तहत तत्काल प्रोविजनल नियोजन, 15 लाख अनुग्रह राशि तथा वर्कमैन कंपनसेशन देने की मांग की।