द फॉलोअप डेस्क
बिहार में शराबबंदी का दावा एक बार फिर कमजोर पड़ता नजर आया है। होली की रात जमुई के सदर अस्पताल में शराबियों ने जमकर उत्पात मचाया है। शनिवार मध्यरात्रि करीब 12:15 बजे नशे में चूर आधा दर्जन से अधिक बदमाशों ने अस्पताल में तांडव किया। इन शराबियों ने काउंटर का शीशा तोड़ा, सामानों को नुकसान पहुंचाया और इमरजेंसी ड्यूटी पर तैनात डॉक्टरों व अन्य स्वास्थ्य कर्मियों के साथ गाली-गलौज और बदसलूकी की। वहीं, घटना से अस्पताल में अफरा-तफरी मच गई। साथ ही मरीजों के बीच भय का माहौल बन गया। इस वजह से हुई घटना
बताया जा रहा है कि टाउन थाना क्षेत्र के हरला गांव में दो पक्षों के बीच मारपीट हुई थी। इस झगड़े में घायल प्रदीप पासवान को इलाज के लिए सदर अस्पताल लाया गया। डॉक्टर मनीष कुमार ने उसकी हालत गंभीर पाई और उसे पटना रेफर कर दिया। इसके बाद 102 एंबुलेंस को सूचित किया गया। लेकिन नशे में धुत युवक दावा करने लगे कि उन्होंने खुद एंबुलेंस को कॉल किया था, जो कि झूठ था। एंबुलेंस आने के बावजूद ये युवक शांत नहीं हुए और अस्पताल में तोड़फोड़ शुरू कर दी। अभद्र भाषा का किया इस्तेमाल
इसके साथ ही इन शराबियों ने न सिर्फ सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाया, बल्कि डॉक्टर और उनके साथी कर्मियों पर गालियां भी दीं। डॉ मनीष ने बताया, "मैंने उन्हें शांत करने की कोशिश की, लेकिन वे सुनने को तैयार नहीं थे। उन्होंने अभद्र भाषा का इस्तेमाल किया और बेवजह हंगामा किया।" इस दौरान पूरे अस्पताल में तनाव और डर का माहौल छा गया।
पुलिस को दी गई सूचना
वहीं, घटना के बाद डॉ मनीष ने डायल 112 और टाउन थाना पुलिस को सूचित किया। लेकिन पुलिस के आने तक सभी शराबी युवक फरार हो चुके थे। पुलिस ने सभी आरोपियों की पहचान कर ली है और उनकी तलाश में जुट गई है। अस्पताल प्रबंधन ने इस मामले में FIR दर्ज करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। डॉ मनीष कुमार ने बताया, "ये लोग नशे में थे और किसी भी तरह की बात मानने को तैयार नहीं थे। सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाया गया और हमारे साथ बदतमीजी की गई। मैंने सिविल सर्जन को भी इस संबंध में शिकायत दी है। सभी आरोपियों की पहचान हो चुकी है।"