जैसे ही अशोक महतो जेल से बाहर निकले समर्थकों ने उनपर फूलों की बरसात की। अशोक महतो जिंदा बाद के नारेबाजी की। 70 की संख्या में गाड़ी भागलपुर जेल के बाहर पहुंची।
किसी को जल्दी सीएम बनाने के लिए नीतीश कुमार को साजिश को तहत विषैला खाना खिलाया जा रहा है, इसलिए तो उन्होंने महावीर चौधरी के फोटो पर माल्यार्पण करने की बजाय उन्होंने जीवित अशोक चौधरी को चढ़ा दिया।
शराब के नशे में मेरे साथ मारपीट की। इसके बाद 3 साल की बेटी के उठाकर उसका गला दबा दिया। जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई। उसने आगे बताया कि उसकी तीन बेटियां हैं जिस कारण पति काफी प्रताड़ित करता है।
ये एक स्पेशल एडिशन है। न सिर्फ ये कड़ाके की ठंड में लोगों में गर्म रखेगा, बल्कि ये उन्हें मीट के फ्लेवर भी चीज के साथ चखने के मौका देगा।
जब हमारी सरकार आई थी उस वक्त जेपीएससी और जेएसएससी की ओर से आयोजित होने वाली परीक्षाओं के लिए आवेदन शुल्क काफी ज्यादा होता था। हमारी सरकार ने इसे कम करने का काम किया। अब सरकार प्रतियोगी परीक्षाओं में आवेदन शुल्क को पूरी तरह से माफ करने जा रही है। इसे लेकर
जिले के चैनपुर में एक टाटा मैजिक गाड़ी आनियंत्रित होकर खाई में गिर गई। इस घटना में खबर लिखने तक 1 व्यक्ति की मौत होने की खबर सामने आई है। वहीं करीब एक दर्जन लोग के घायल होने की सूचना है।
झारखंड में ईडी के अधिकारियों के खिलाफ साजिश रचने के मामले में गुरुवार को रांची के बिरसा मुंडा केंद्रीय कारागार के अधीक्षक हामिद अख्तर से पूछताछ हुई। पूछताछ के दौरान जेल अधीक्षक हामिद अख्तर ने माना कि उन्होंने रांची से आर्म्स लाइसेंस हासिल किया है। उनसे एज
''मैं सभी लोगों का धन्यवाद देना चाहती हूं..जिन्होंने पहले मुझे मदद की है। हां, अब हमारी यूट्यूब से कमाई हो रही है...जो हमारा कमरा बना, गहने बनाए... वो यूट्यूब के इनकम से किए।
सी भाषा में भद्दी बातें की.....उन्हें कोई शर्म नहीं है। कितना नीचे गिरेंगे। पूरे दूनिया में देश का अपमान करवा रहे हैं।
ऐसी भाषा में भद्दी बातें की.....उन्हें कोई शर्म नहीं है। कितना नीचे गिरेंगे। पूरे दूनिया में देश का अपमान करवा रहे हैं।
गोड्डा के मुफस्सिल थाना क्षेत्र से एक सनसीखेज मामला सामने आया है। यहां एक सिरफिरे प्रेमी ने अपनी प्रेमिका की शादी कहीं और तय हो जाने के बाद उसकी आपत्तिजनक तस्वीर फेसबुक पर वायरल कर दी।
जांच के सिलसिले में अधिकारियों को हमें सुदूर गांव भी जाना पड़ता है ऐसे में ये संगठन एएनआई अधिकारियों को अपना निशाना बना सकते हैं।