logo

आधी जमीन ने बताया : आदिवासी स्वशासन और पेसा कानून में क्या हो महिलाओं की भूमिका 

chaibasa7.jpg

जमशेदपुर 
दो दिवसीय महिला कार्यशाला का आयोजन चाईबासा के पड़ियारपी में हुआ। संयुक्त महिला समिति फोरम के तत्वावधान में आयोजित इस कार्यशाला में पूर्वी सिंहभूम, पश्चिमी सिंहभूम एवं सरायकेला-खरसंवा की 70 महिलाओं ने हिस्सा लिया। ज्योत्सना तिर्की ने कहा कि हम महिलाएं जननी हैं, हम सशक्त हैं और यह हमें हर हाल में, हर परिस्थिति में संघर्षशील रहना और नव निर्माण करना सिखाती है। सुशीला बोदरा ने कहा कि महिलाओं की भूमिका और अधिकार कृषि, वन उत्पादन और घरेलू अर्थव्यवस्था में अहम भूमिका निभाती हैं। माता, बेटी, बहू और मजदूर के रूप में उन्हें समान अधिकार और अवसर मिलने चाहिए। हमारा सशक्तिकरण महिलाओं को शिक्षा, स्वास्थ्य, राजनैतिक भागीदारी और आर्थिक संसाधनों तक पहुंच प्रदान करके हम समाज को और मजबूत बना सकते हैं।

इस दो दिवसीय कार्यशाला में आदिवासी स्वशासन और पेसा कानून में महिलाओं की भूमिका, पर्यावरण और जंगल से महिलाओं का जुड़ाव, वन और कृषि उत्पादों का महिलाओं द्वारा व्यवसाय, महिला मजदूर और कानूनी व्यवस्था एवं सरकारी योजनाएं विषय पर वक्ताओं ने अपने अनुभव और जानकारी साझा की, जिनमें मुख्य रुप से शांति सवैंया, बहन रिंजी लेपचा, शीतल बागे, सरस्वती सिंकू, शिवानी मार्डी, सरस्वती कुददा, सीता सुंडी, लक्ष्मी सिरका, जयंती जोंकों, सुनील पूर्ति, मईया सोरेन, अनमोल पिंगुआ थे।


 

Tags - Jharkhand News News Jharkhand Jharkhand।atest News News Jharkhand।ive Breaking।atest